IndAus ECTA : भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच आर्थिक सहयोग और व्यापार समझौते पर आज हस्ताक्षर हो गए। भारत-ऑस्ट्रेलिया आर्थिक सहयोग और व्यापार समझौते पर वर्चुअल हस्ताक्षर समारोह में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि ये रिश्ते भारत-ऑस्ट्रेलिया मित्रता का महत्वपूर्ण स्तंभ हैं, ये समझौता हमारे बीच छात्रों, प्रोफेशनल और पर्यटकों का आदान-प्रदान आसान बनाएगा। जिससे ये संबंध और मजबूत होंगे। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हमारी अर्थव्यवस्थाओं के बीच एक-दूसरे की आवश्यकताओं को पूरा करने की बहुत क्षमता है, मुझे विश्वास है कि इस समझौते से हम इन अवसरों का पूरा लाभ उठा पाएंगे। इस समझौते के आधार पर हम साथ मिलकर सप्लाई चेन का लचीलापन बढ़ाने और इंडो-पैसिफिक क्षेत्र की स्थिरता में भी योगदान कर पाएंगे। PM मोदी ने कहा कि इतने कम समय में इतने महत्वपूर्ण समझौते पर सहमति बनना दिखाता है कि दोनों देशों के बीच कितना आपसी विश्वास है। ये हमारे द्विपक्षीय रिश्तों के लिए सचमुच एक ऐतिहासिक क्षण है।
निर्यातकों को नहीं देना होगा कोई टैरिफ
भारत ऑस्ट्रेलिया समझौते के बाद अब चमड़ा, कपड़ा, आभूषण और मशीनरी उद्योगों के भारतीय निर्यातकों को ऑस्ट्रेलियाई बाजार में शुल्क मुक्त पहुंच प्राप्त होगी। भारत में केंद्रीय मंत्रिमंडल और ऑस्ट्रेलिया में संसद से मंजूरी मिलने के बाद यह समझौता सहमत तारीख पर लागू होगा। इस समझौते के लागू होने के बाद पहले ही दिन भारतीय निर्यातकों के लिए 6,000 से अधिक टैरिफ लाइनें बिना किसी शुल्क पर उपलब्ध होंगी।
सीमा शुल्क से मिलेगा छुटकारा
भारत ऑस्ट्रेलिया समझौता वस्तुओं और सेवाओं में व्यापार को शामिल करता है, जिससे वस्तुओं और सेवाओं में द्विपक्षीय व्यापार में बढ़ोतरी होगी और रोजगार के नए अवसर पैदा होंगे। इसके तहत ऑस्ट्रेलिया पहले दिन से ही भारत के निर्यात के लगभग 96.4 प्रतिशत मूल्य पर कोई शुल्क नहीं लगाएगा और इसमें ऐसे उत्पादों को शामिल किया गया है, जिन पर वर्तमान में आस्ट्रेलिया में 4-5 फीसद सीमा शुल्क लगता है।