नई दिल्ली: सर्च इंजन गूगल ने शुक्रवार को उस वैज्ञानिक संदेश को अपना डूडल बनाया जिसे आज से 44 साल पहले पृथ्वी से बाहर दूसरे ग्रहों के लिए प्रसारित किया गया था। इसे आरसीबो संदेश कहा जाता है। गूगल ने एक बयान में कहा कि इसका मकसद करीब तीन मिनट के इस रेडियो संदेश को पृथ्वी से 25 हजार प्रकाश वर्ष दूर तारामंडल हरक्यूलिस के तारों के समूह तक पहुंचना था। अंतरिक्ष में दूरी प्रकाश वर्ष में मापी जाती है न कि मीटर में।
सन् 1974 में वैज्ञानिकों के एक दल ने लातिन अमेरिकी देश प्यूर्तोरिको में बनी आरसीबो वेधशाला से सबसे शक्तिशाली संदेश अंतरिक्ष में भेजा था। इस संदेश में गणित के कुछ तथ्यों, मानव के डीएनए, सौर प्रणाली में पृथ्वी ग्रह की स्थिति, एक मानवाकृति और दूरबीन के चित्र को शामिल किया गया था। उस समय इस दल में शामिल रहे कार्नेल विश्वविद्यालय में खगोल विद्या के प्रोफेसर डोनाल्ड कैम्पबेल ने कहा कि यह पूरी तरह से एक सांकेतिक घटना थी जिससे यह साबित करना था कि हम ऐसा कर सकते है। इस संदेश को इसी विश्वविद्यालय के शोध दल में शामिल फ्रैंक डेरेक ने अपने सहयोगी कार्ल सैगन की मदद से तैयार किया था। इसे अपने तय लक्ष्य पर पहुंचने में 25 हजार साल का समय लगेगा। गूगल ने कहा कि इस संदेश का उत्तर पाने में मानवता को काफी लंबा इंतजार करना पड़ सकता है।