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कोरोनाकाल में नसबंदी प्रभावित, अस्थाई विकल्प पर बढ़ा रूझान

मकड़ाई समाचार रायपुर। कोरोनाकाल में जहां नसबंदी प्रभावित होने से अस्थाई विकल्पों की ओर रूझान बढ़ा है। वहीं, घटते नसंबदी के आंकड़ों के बीच महिलाओं की अपेक्षा पुरुषों में जागरूकता का स्तर पहले की तुलना में गिरता नजर आ रहा है। जिला स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक वर्ष 2010-19 में 8,929 महिलाओं और 417 पुरुषों की नसबंदी हुई। वर्ष 2019-20 में 9674 महिलाओं व 694 पुरुषों ने, वर्ष 2020-21 में 8823 महिलाओं व 382 पुरुषों ने नसबंदी कराई।

वहीं, 2021 अप्रैल से जून तक की स्थिति में 645 महिलाओं व छह पुरुषों की नसबंदी की गई है। तीन वर्षों की स्थिति पर नजर डालें, तो कोरोना की वजह से नसबंदी की संख्या घटी है। साथ ही महिलाओं की अपेक्षा पुरुषों में जागरूकता कम हुई है। इधर, परिवार नियोजन के अस्थाई विकल्प पर नजर डालें, तो गर्भ निरोधक दवाएं लेने वालों की संख्या में 15 से 20 फीसद तक वृद्ध हुई है।

अस्थाई दवाएं बनी विकल्प, बढ़ी मांग

जिला कार्यक्रम सलाहकार रंजना गायकवाड़ ने बताया कि राष्ट्रीय परिवार कल्याण कार्यक्रम के अंतर्गत स्वास्थ्य विभाग ने जिले में वर्ष 2019-20 के मुकाबले वर्ष 2020-21 में 2022 महिलाओं की प्रसव के बाद कॉपर-टी, 6156 महिलाओं को ओरल दवा, 311 महिलाओं को इमरजेंसी दवा 4,520 महिलाओं को छाया गोली और 15,928 लोगों को अतिरिक्त कंडोम बांटा है।

परिवार नियोजन जागरूकता के लिए पहल

– पुरुष व महिला नसबंदी पखवाड़ा।

– परिवार नियोजना जागरूकता पखवाड़ा

– अस्पताल व स्वास्थ्य केंद्रों में काउंसलिंग की सुविधा।

– मोर मितान मोर संगवारी, सास-बहू सम्मेलन से जागरूकता।

जिले में परिवार नियोजन तहत लोगों को मिली सुविधाएं

परिवार निययोजन – 2019-20 – 2020-21

पुरुष नसबंदी – 694 – 382

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महिला नसबंदी – 9674 – 8823

कॉपर-टी – 3085 – 2503

प्रसव बाद कॉपर-टी – 8088 – 10110

ओरल दवा – 66444 – 72600

इमरजेंसी दवा – 147 – 458

छाया – 3845 – 8365

अंतरा इंजेक्शन – 1002 – 647

कंडोम – 264022 – 279950

वर्जन

कोरोनाकाल में नसबंदी सेवाएं प्रभावित हुई है। अस्थाई विकल्प की ओर लोगों का रुझान बढ़ा है। पहले की तुलना में गर्भनिरोधक दवाएं, कंडोम आदि का अतिरक्त वितरण किया गया है।

-डॉक्टर मीरा बघेल, सीएमएचओ, जिला-रायपुर