पतंजलि जैसी संस्था देश व मानव हित के साथ खड़ी रहती है
राजगढ़ छापीहेड़ा:- आज विश्व कोरोना के मौत के मुंह पर खड़ा है उसका कारण योग से दूर रहना वेद विरुद्ध भोग करना विदेशी पाश्चात्यति करण अपनाना है| वर्तमान के विदेशी पाश्चात्य आधुनिक वैज्ञानिक एवं मत मताअंतर आदि कुछ असत्य ज्ञान जानने वालों ने ही योग यज्ञ ना करते हुए, मांस खाना जानवरों की मांब लिंचिंग कराई तथा प्रकृति से छेड़छाड़ किया | जिसकी सजा आज मानव जगत भोग रहा है| इस संकट की घड़ी की पीड़ा में जहां देश के अच्छे लोग अच्छी संस्था मानव हित को लेकर खड़ी है वहीं कहीं कहीं मानव व देश विरोधी ताकतें भी सामने एक्सपोज हुई है | ऐसा माहौल में पतंजलि योगपीठ हरिद्वार की ओर से देश का हर नियम को मानने वह पालन करते हुए राजगढ़ जिला की योग कक्षा को घर में एकल विगत दिनों से व्यक्तिगत तौर से चलाया जा रहा है जिसकी मानिटरिंग पतंजलि के जिला योग प्रचारक संतराम आर्य घर से ही कर रहे हैं | संतराम योग प्रचारक का मानना है हमें हमारे प्राचीन वेद ज्ञान पर चलकर योगी उपयोगी उद्योगी बनकर संसार के लिए सहयोगी रहना है तथा मानव प्रकृति देश व संसार विरोधी लोगों से मुकाबला योगी होकर करना है आज मानव हित जहां आता है वहीं कहीं कहीं विदेशी मानसिकता के लोग विरोध में सामने खड़े दिखते हैं जो मानव अर्थात मानने वाले मनु और शत्रुपा की संतान मानव पर कलंक है। जिनको मानव नहीं दानव कहना चाहिए।