हरदा:पीएम मोदी के दौरे के पूर्व सभास्थल के मालिक कृषकों ने की शिकायत ! – किसान के साथ अन्याय हुआ तो करेंगे आंदोलन – केदार सिरोही !
जिला कलेक्टर श्री सिंह के संज्ञान में आने के बाद कार्यक्रम स्थल के आसपास के किसानों को तत्काल बुलाकर उनकी समस्या सुनी। किसानों को आश्वस्त किया,
हरदा । पीएम की सभास्थल के लिए बिना सहमति के किसानों की भूमि लेने और उनको लिखित में यथावत करके देने का लिखित आश्वासन न मिलने का विवाद चर्चा में है।
किसान कांग्रेस के केदार सिरोही ने फेसबुक पर किसानों के आवेदन को चस्पा कर किसान के साथ अन्याय होने पर आंदोलन की बात कही है।
क्या कहा कांग्रेस नेता सिरोही ने –
मोदी जी देश भर मे ग्यारंटी के लिए सभाए कर रहे किन्तु जिस किसान के खेत मे सभा कर रहे उस खेत को यथावत करने की ग्यारंटी क्यों नहीं?
हरदा मे जिन किसानो के खेत मे मोदी जी की सभा का आयोजन क़िया जाना है, वो किसान सरकार से गुहार लगा रहे है की बिना अनुमति उनकी जमीन पर आयोजन ना क़िया जाए..
यह देश के लिए सभा नहीं जो किसान की जमीन बिना मुआवजा सभा के लिए ली जाए, यह एक चुनावी सभा है, एक दल की सभा है जिसका खामियाजा किसान क्यों भुगतेगा?
किसान की जमीन यथावत करना होगा, बिछाई गई मूरम हटानी होंगी, वाटर कोष ठीक करना होगा, तार फेंसिंग नए स्तर से करना होगा और उपरोक्त सभी बाटे किसानो को प्रशासन द्वारा लिखित मे दिया जाए.
प्रसाशन किसानो को अकेला ना समझे, पूरा किसान समुदाय उनके साथ खड़ा है, यदि किसान के साथ अन्याय हुआ तो हक़ के लिए हम आंदोलन करेंगे..
हरदा है साहब, जोर जबरजस्ती नहीं चलेगी..
क्या है मामला –
प्रधानमंत्री दौरे के लिए निर्धारित स्थल के मालिक किसानों ने बिना सहमति के खेत की जमीन लेने व कार्यक्रम के बाद स्थल को यथावत करने को लेकर शुक्रवार को कलेक्टर कार्यालय, एसडीएम कार्यालय व तहसीलदार कार्यालय में लिखित आवेदन दिया था।
प्रधानमंत्री के हरदा दौरे के लिए निश्चित अबगांव खुर्द स्थित कृषिभूमि (करीब 28 एकड़) के किसानों ने पत्र लिखकर खेत की मेड, फेंसिंग, वाटरकोर्स आदि को तोड़ कर समतलीकरण करने हेलीपेड बनाने , रोड बनाने से कार्यक्रम के बाद विवाद की स्थिति निर्मित होने को लेकर खेत को यथावत करने की मांग को लेकर प्रशासनिक अधिकारियों को पत्र लिखकर बाकायदा उसकी पावती भी ली।
किसानों के अनुसार मौखिक रूप से उन्हें कहा गया था लेकिन लिखित में देने से अधिकारियों ने हाथ खड़े कर दिए । किसानों के अनुसार उनसे कार्यक्रम स्थल हेतु भूमि की सहमति पत्र देने हेतु अधिकारी दवाब बना रहे थे। इससे आहत होकर किसानों ने लिखित आवेदन देकर सुनवाई की मांग की । अखिलेश, भगवानदस और अरविंद ने उक्त आवेदन प्रस्तुत किये।
मिली जानकारी में आज आवेदन पर कार्रवाई न होने व लिखित आश्वासन न मिलने को लेकर अरविंद, अखिलेश, भगवानदास आज फिर से शिकायत करने कलेक्टर कार्यालय आये थे।
आज शनिवार को जब कलेक्टर को यह जानकारी मिली की कुछ किसानो में नाराजगी है तो उन्होंने कार्यक्रम स्थल के आसपास के किसानों को तत्काल बुलाकर उनकी समस्या सुनी। किसानों को आश्वस्त किया।
कलेक्टर आदित्य सिंह ने किसानों को प्लाऊ करके देने, वाटरकोर्स बनाकर देने, नालियां खोदने तथा फेंसिंग करने आदि काम प्रधानमंत्री दौरे के बाद किये जाने को लेकर आश्वस्त किया।
हालांकि किसान बार बार ये कह रहे थे कि खेत समतल होने से आगामी फसल हेतु जमीन उपजाऊ नहीं रहेगी । वे नुकसानी का हर्जाने की दबी जबान से मांग कर रहे थे।
सूत्रों से मिली जानकारी में किसानों को उनकी शिकायत का लिखित आश्वासन नहीं मिला और न हीं किसानों ने प्रशासन को सभास्थल हेतु लिखित सहमति दी।
मालूम हो, आगामी 24 अप्रैल को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की विशाल आमसभा लोकसभा प्रत्याशी डी डी ऊईके के पक्ष में होने वाली है। बैतूल हरदा लोकसभा क्षेत्र में प्रधानमंत्री की इस विशाल आमसभा में लगभग डेढ़ लाख लोगो के आने की उम्मीद है। लोकसभा चुनाव हेतु 7 मई को मतदान होना है।