अनिल उपाध्याय
खातेगांव: नेमावर में राष्ट्रीय जांभाणी संस्कार शिविर आयोजित हो रहा है। इस पांच दिवसीय आवासीय शिविर में विश्नोई समाज के छोटे बच्चे भाग ले रहे हैं जिन्हें शिविर प्रशिक्षकों द्वारा शिक्षा, संस्कार, धर्म पर आधारित गतिविधियों के माध्यम से प्रशिक्षण दिया जा रहा है। शिविर प्रभारी रामसुख बेनीवाल खातेगांव ने बताया कि अभी तक संपन्न 3 दिवसों में गुरु जंभेश्वर भगवान के जीवन चरित्र पर बताते हुए विश्व भर को उनके दिए गए उपदेशों के बारे में बताया, पेड़ों के रक्षार्थ हुए शहीद हुए नर नारियों के बारे में बताते हुए खेजड़ली महाबलिदान की घटना से पर्यावरण संरक्षण हेतु प्रेरित किया।
सुबह ब्रह्म मुहूर्त में जागरण के साथ योग प्राणायाम की शिक्षा दी जा रही है। उसके पश्चात हवन क्रिया के माध्यम से गुरु जंभेश्वर भगवान की शब्दवाणी एवं पाहल प्रक्रिया को समझाया जा रहा है। शाम को विभिन्न ग्रामीण खेलों के माध्यम से बच्चों को जीवन में खेलों के महत्व समझाया। इसके पश्चात शाम को साखी व आरती करके धर्म की शिक्षा दी जा रही है। साथ ही रात में सांस्कृतिक सत्र में बच्चे अपनी कला का प्रदर्शन कर रहे हैं। इस तरह सुबह जागरण से रात्रि शयन तक अलग-अलग सत्रों एवं गतिविधियों के आयोजित कर बच्चों को नैतिक, धार्मिक, संस्कारित शिक्षा प्रदान की जा रही है। शिविर संयोजक संत कृष्णानंद आचार्य जी के मार्गदर्शन तथा साहित्य अकादमी बीकानेर के संगठन सचिव पूनम पवार के नेतृत्व में रामसिंह कस्वा, हरिराम खिचड़ राजस्थान, मनमोहन पवार, अमृतलाल पूनिया, सुनील स्याग खमलाय, ईश्वर स्याग खातेगांव, उमेश बेनिवाल मांगरूल, पूनम जानी संदलपुर, दिनेश सारण कायागांव शिविर में प्रशिक्षक के रूप में भूमिका निभा रहे हैं।