मकड़ाई एक्सप्रेस 24 सागर। नाबालिग लड़की के साथ दुष्कर्म करने वाले उसके चाचा को तृतीय अपर.सत्र न्यायाधीशध्विशेष न्यायाधीश नीलम शुक्ला ने दोषी करार देते हुए धारा. 376;3 के तहत आजीवन सश्रम कारावास की सजा और पांच हजार रुपये अर्थदंड से दंडित किया है।
क्या बेटियां अब घर में भी सुरक्षित नही है
न्यायालय द्वारा बालिका के पुर्नवास के लिए उसे क्षतिपूर्ति के रूप में प्रतिकर के रूप में चार लाख रूपये दिए जाने का आदेश भी दिया है।न्यायालय ने निर्णय पारित करते समय यह टिप्पणी की थी कि अभियुक्त पर भी बालिका का चाचा होने के नाते उसके संरक्षण का दायित्व था लेकिन आरोपित ने उसके भाई की पुत्री के साथ कई बार दुष्कर्म जैसा गंभीर अपराध कर किसी स्त्री के उसके घर के अंदर सुरक्षित होने की परिकल्पना को ही खंडित किया है।
सहायक जिला अभियोजन अधिकारी रिपा जैन ने बताया कि पीड़िता ने दिनांक 31 अगस्त 2022 अपने माता.पिता के साथ रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि 30 अगस्त 2022 को बच्ची डेयरी से दूध लेकर वापस घर आ रही थी। मंदिर के पास उसे उसका चाचा मिला जिसने बालिका को उसके साथ चलने के लिए कहा और उसको मंदिर के पीछे ले जाकर उसका मुंह दबाकर उसके साथ दुष्कर्म किया। मौके पर बालिका की मां आ गई तो उसे देखकर आरोपित छिप गया फिर बालिका उसकी मां के साथ घर वापस आ गई और घटना के बारे में पिता को बताया। आरोपित दो.तीन बार धमकी देकर गलत काम कर चुका है।