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अपीलेट ट्रिब्यूनल का नीरव मोदी को झटका, संपत्ति बेचने पर लगाई रोक

नई दिल्लीः धन शोधन के खिलाफ अपीलेट ट्रिब्यूनल ने पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के साथ करोड़ो रुपए का घोटाला कर देश से भागे हीरा कारोबारी नीरव मोदी और अन्य को निर्देश दिए कि वे अपनी 21 अचल संपत्तियों पर यथास्थिति बरकरार रखें और इन संपत्तियों को नहीं बेचे।

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भरोसेमंद नहीं नीरव मोदी
धन शोधन निवारण अधिनियम पर अपीलेट ट्रिब्यूनल के अध्यक्ष न्यायमूर्ति मनमोहन सिंह ने कहा कि नीरव मोदी ‘‘भरोसेमंद नहीं है’’ क्योंकि वह देश से भाग गया था और जनता के धन की वसूली का बैंकों का अधिकार सुरक्षित होना चाहिए। पीएनबी और यूबीआई कंसोर्टियम को राहत प्रदान करते हुए न्यायमूर्ति सिंह ने कहा,‘‘ जहां तक अपीलकर्ता पीएनबी द्वारा वर्तमान में अंतरिम आदेश की मांग की गई है, मेरा मानना है कि नीरव मोदी, एमी नीरव मोदी और अन्य जो 21 संपत्तियों के संबंध में इसके लिए उत्तरदायी हैं, के खिलाफ प्रथम-दृष्टया मजबूत मामला सामने आया है।’’ सिंह ने कहा,‘‘इन परिस्थितियों में, मैं निर्देश देता हूं कि नीरव मोदी और अन्य की संपत्ति के संबंध में यथास्थिति बनाए रखेंगे और विशेष रूप से नीरव मोदी, एमी नीरव मोदी और अन्य प्रतिवादी 532.72 करोड़ रुपए मूल्य की 21 अचल संपत्तियों को नहीं बेचेंगे। मुझे लगता है कि बैंक बिक्री के बाद राशि प्राप्त करने के लिए पात्र है।’’

ट्रिब्यूनल ने जारी किए नोटिस
ट्रिब्यूनल ने कहा कि नीरव मोदी बैंकों और नागरिकों को धोखा देकर इस देश से भाग गया। सरकार विभिन्न एजेंसियों के माध्यम से उसे स्वदेश वापस लाने के लिए कई कदम उठा रही है। यह कहा गया कि ऐसी आशंका थी कि नीरव मोदी चल और अचल संपत्तियों की मौजूदा स्थिति को बदलने का प्रयास कर सकता है। ट्रिब्यूनल ने कहा,‘‘उनकी धनराशि साफ सुथरी राशि है और यह बैंकों में आनी चाहिए। ज्यादातर ये सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक हैं। यह जनता का पैसा है।’’ ट्रिब्यूनल ने बैंकों को अंतरिम राहत प्रदान करते हुए प्रवर्तन निदेशालय (ईडी), नीरव मोदी और अन्य को नोटिस जारी किए और बैंकों की अपील का निपटारा करने के लिए 10 दिसम्बर की तिथि तय की।