हरदा : प्रधानमंत्री आवास योजना से ऐसे कई आवासहीन गरीब परिवारों का पक्का मकान बनाने का सपना साकार हुआ है, जिनके लिये पक्का मकान बनाना असंभव सा था। इन्हीं में से एक है हरदा जिले की ग्राम सिरकम्बा निवासी गया प्रसाद। उन्हें जब प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत रहने के लिये पक्का मकान मिला तो उनकी खुशी का ठिकाना न रहा।
गया प्रसाद ने बताया कि अत्यन्त गरीब परिवार से है तथा बचपन से ही कच्ची झोपड़ी में जीवन यापन कर रहा था। झोपड़ी में कीड़े कांटे सांप बिच्छू आदि का डर हमेशा बना रहता था। पक्का मकान बनाना उसके लिये एक सपने की तरह ही था, हालांकि पक्के मकान में रहने की उसकी इच्छा तो हमेशा होती थी। प्रधानमंत्री आवास योजना में 1.20 लाख रूपये की मदद से गया प्रसाद ने अपना स्वयं का पक्का मकान बना लिया, जिसमें वह अपने परिवारजनों के साथ खुशी-खुशी रह रहा है। गया प्रसाद अपने इस सपने को साकार होने पर प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के साथ-साथ प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान का भी आभार प्रकट करता है।
ब्रेकिंग
Big breaking news: टिमरनी: नायब तहसीलदार पटवारी को धमकी देकर रेत से भरे ट्रैक्टर ट्रॉली वाहन छुड़ाकर...
हरदा: कृषि विभाग के संयुक्त दल ने ग्रामीण क्षेत्रों में मूंग फसल का किया निरीक्षण
हरदा: महिला मोर्चा द्वारा लोकमाता अहिल्याबाई होल्कर की 300 वी जन्मजयंती पर कार्यक्रम आयोजित किया गया...
हंडिया: शराब माफिया ऑटो से भिजवा रहा अवैध शराब: हंडिया पुलिस ने देशी (लाल, सफेद) शराब व बियर के 141 ...
सार्वजनिक भीड़ वाले इलाके में गड्डा दे रहा है बड़ी दुर्घटना का संदेश ! कल आ रहे हैं मुख्यमंत्री फि...
टिमरनी: कांग्रेस विधायक अभिजीत शाह के ऑफिशियल पेज से मंत्री विजय शाह को समर्थन, अधिवक्ता ने कांग्रेस...
मकड़ाई समाचार के "नाम" ने एक गरीब आदिवासी युवक की मदद की। रिपोर्टर ने चालान कटने से बचाया लेकिन हेलम...
बागेश्वर बालाजी सुंदरकांड की शानदार प्रस्तुती पर झूम उठे श्रोतागण
बड़ी डकैती की योजना बना रहे बदमाशो को राणापुर पुलिस ने दबोचा व अवैध हथियार और बाइक जब्त की!
Big breaking news: टिमरनी:अवैध रेत चोर माफिया के हौसले बुलंद, छापामार कार्यवाही करने पहुंची राजस्व ट...

चौधरी मोहन गुर्जर मध्यप्रदेश के ह्र्दयस्थल हरदा के जाने माने वरिष्ठ पत्रकार है | आप सतत 15 वर्षो से पत्रकारिता के क्षेत्र में अपनी सेवायें देते आ रहे है। आपकी निष्पक्ष और निडर लेखनी को कई अवसरों पर सराहा गया है |