देश। अभी हाल ही में इस्राइल पर ईरान के हमले के बाद से दोनों देशों के बीच युद्ध की स्थिति बनी हुई है । इस्राइल ने ईरान के हमले का जवाब देने के लिए अपनी सेना को तैयार रखा है, और अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने इस्राइल के समर्थन में बयान जारी किया है।
अमेरिकी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने बताया कि अमेरिका ईरान के हमले की निंदा करता है और इस्राइल के समर्थन करता है । उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका इस्राइल के साथ मिलकर काम कर रहा है ताकि ईरान के हमले का जवाब दिया जा सके और क्षेत्र में स्थिरता बनी रहे ।
ईरान ने बदला अपना सुर
अब ईरान ने कहा है कि वह इस्राइल के खिलाफ और हमले नहीं करेगा अगर इस्राइल हमला नहीं करता है, लेकिन इस्राइल के कुछ मंत्रियों ने ईरान पर हमला करने की मांग की है। जिसको लेकर गुरूवार की सुबह राष्ट्रपति नेतान्याहू ने मोसाद और रक्षाधिकारियों के साथ बैठक की है।
ईरान और इस्राइल के बीच तनाव के कारण:
ईरान का परमाणु कार्यक्रम – ईरान का परमाणु कार्यक्रम इस्राइल के लिए एक बड़ा खतरा है ।इसके साथ अन्य पड़ोसी देशों में भय व्याप्त है हिजबुल्लाह की गतिविधियां भी दुखदायी थी।
इस्राइल के हमले अब तेज – ईरान ने इस्राइल के सैन्य ठिकानों पर हमले किए हैं, जिससे इस्राइल को ईरान के खिलाफ हमला करने का बहाना मिला है।
मध्य पूर्व में तनाव – मध्य पूर्व में तनाव बढ़ रहा है, जिससे ईरान और इस्राइल के बीच तनाव भी बढ़ रहा है ।
मिडिल ईष्ट में आज की रात होगी भारी।
ईरान और इजरायल युद्ध के बीच आज की रात बहुत भारी होने वाली है ऐसी शंका जताई जा रही है कि ईरान के हमले के बाद अब इजरायल उसे जवाब देगा। जो आज की रात हो सकता है। इसी संभावना को देखकर मध्य पूर्व के देशों में दहशत बनी हुई है। इस्राइल में गुरुवार सुबह की मीटिंग के बाद अभी तक कोई ऐलान नहीं किया है। मध्य पूर्व सभी देश चाहते हैं यहां पर शांति की स्थिति बन जाए। इधर अमेरिका ने भी अपने तेवर तीखे किए हैं और इसराइल को क्लीन चिट देते हुए कहा है कि उन्हें अपने नागरिको की रक्षा करने का अधिकार है।