देहरादून। थलसेना प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे नेकहा कि मैं सभी को आश्वस्त करना चाहता हूं कि चीन के साथ हमारी सीमाओं पर स्थिति पूरी नियंत्रण में है। सेना प्रमुख ने यह बात शनिवार को भारतीय सैन्य अकादमी, देहरादून में आयोजित पासिंग आउट परेड के बाद मीडिया से बातचीत में कही। नेपाल के मुद्दे पर थल सेनाध्यक्ष ने कहा कि नेपाल से हमारा संबंध हमेशा मजबूत रहा है और भविष्य में भी मजबूत रहेगा।
थलसेना प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे ने कहा कि चीन के साथ बातचीत का दौर जारी है, जो कोर कमांडर स्तर की वार्ता के साथ शुरू हुई है। और स्थानीय स्तर पर समकक्ष रैंक के कमांडरों की बैठकें जारी हैं। हम उम्मीद कर रहे हैं कि हमारे द्वारा किए जा रहे निरंतर संवाद के माध्यम से हम (भारत और चीन) सभी कथित मतभेदों को दूर कर देंगे। उनहोंने कहा कि सब कुछ नियंत्रण में है। सेनाध्यक्ष ने नेपाल के मुद्दे पर कहा कि नेपाल के साथ हमारे बहुत मजबूत संबंध हैं। हमारे उनसे भौगोलिक, सांस्कृतिक, ऐतिहासिक और धार्मिक संबंध हैं। उनके साथ हमारा संबंध हमेशा मजबूत रहा है और भविष्य में भी मजबूत रहेगा।
उल्लेखनीय है कि लद्दाख के पैंगोग त्सो झील, गलवन घाटी और डेमचोक तीन ऐसे स्थान थे जहां भारतीय और चीनी सेनाएं एक-दूसरे के सामने डटी थीं। बीते दिनों हुई सैन्य अधिकारियों के स्तर पर हुई बातचीत में भारत ने साफ कर दिया था कि वह अपने जवानों को तब तक इलाके से नहीं हटाएगा जब तक कि चीनी सेना इलाके में पूर्व की स्थिति को बहाल नहीं कर देती। चुशूल सेक्टर के सामने चीन के मोल्डो सैन्य बेस में हुई उक्त बैठक में भारत का नेतृत्व लेह स्थित सेना की 14वीं कोर के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल हरिंदर सिंह ने किया। उनके साथ दो ब्रिगेडियर स्तर के अधिकारी भी शामिल थे।