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RBI ने सिबिल स्कोर पर जारी किए 6 नए नियम, जानिए पूरी जानकारी RBI New Rule

RBI New Rule: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने हाल ही में क्रेडिट स्कोर या सिबिल स्कोर से जुड़े कुछ महत्वपूर्ण नियमों में बदलाव किए हैं। इन नए नियमों का मुख्य उद्देश्य ग्राहकों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करना और क्रेडिट स्कोर प्रक्रिया को अधिक पारदर्शी बनाना है। अगर आपका सिबिल स्कोर अच्छा है, तो यह आपके लिए फायदे का सौदा हो सकता है। आइए जानते हैं इन नए नियमों के बारे में विस्तार से।

1. क्रेडिट स्कोर अपडेट का नया नियम

अब 1 जनवरी 2025 से हर ग्राहक का क्रेडिट स्कोर 21 दिनों के भीतर अपडेट किया जाएगा। इस नियम का उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि ग्राहक अपने वित्तीय रिकॉर्ड्स की जानकारी समय पर प्राप्त करें। इससे ग्राहकों को न केवल अपने क्रेडिट स्कोर की स्थिति को समझने में आसानी होगी, बल्कि वे अपनी वित्तीय योजनाओं को बेहतर तरीके से प्रबंधित भी कर पाएंगे।

2. क्रेडिट चेक की जानकारी देना अनिवार्य

नए नियम के अनुसार, जब भी कोई बैंक या गैर-बैंकिंग वित्तीय संस्थान (NBFC) किसी ग्राहक का क्रेडिट स्कोर चेक करेगा, तो उन्हें ग्राहक को इस प्रक्रिया की जानकारी देनी होगी। यह सूचना SMS या ईमेल के जरिए दी जाएगी। इस कदम का उद्देश्य पारदर्शिता और ग्राहकों की सुरक्षा सुनिश्चित करना है।

3. मुफ्त वार्षिक क्रेडिट रिपोर्ट का प्रावधान

अब क्रेडिट ब्यूरो को साल में कम से कम एक बार ग्राहकों को उनकी पूरी क्रेडिट रिपोर्ट मुफ्त में उपलब्ध करानी होगी। इसके लिए कंपनियों को अपनी वेबसाइट पर एक विशेष लिंक प्रदान करना होगा, जहां से ग्राहक अपनी रिपोर्ट डाउनलोड कर सकेंगे। यह कदम ग्राहकों को उनकी क्रेडिट हिस्ट्री समझने और सुधारने में मदद करेगा।

4. क्रेडिट रिक्वेस्ट रिजेक्शन का स्पष्ट कारण बताना होगा

यदि किसी ग्राहक की क्रेडिट संबंधी रिक्वेस्ट, जैसे लोन या क्रेडिट कार्ड आवेदन, को अस्वीकार किया जाता है, तो बैंक या वित्तीय संस्थान को इसके कारण स्पष्ट रूप से बताने होंगे। यह कदम ग्राहकों को उनकी कमियों को समझने और अपने क्रेडिट प्रोफाइल को बेहतर बनाने में सहायता करेगा।

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5. डिफॉल्टर घोषित करने से पहले सूचना देना अनिवार्य

ग्राहकों को डिफॉल्टर घोषित करने से पहले उन्हें इसकी पूर्व सूचना देना बैंकों और वित्तीय संस्थानों की जिम्मेदारी होगी। यह सूचना SMS या ईमेल के माध्यम से दी जाएगी। इससे ग्राहकों को अपनी स्थिति सुधारने और अनावश्यक डिफॉल्टर टैग से बचने का मौका मिलेगा।

6. शिकायत निवारण के लिए समय सीमा तय

ग्राहकों की शिकायतों के समाधान के लिए समय सीमा निर्धारित की गई है। बैंकों को 21 दिनों और क्रेडिट ब्यूरो को 9 दिनों के भीतर शिकायतों का निपटारा करना होगा। यदि इस समय सीमा का पालन नहीं किया जाता है, तो प्रतिदिन ₹100 का जुर्माना लगाया जाएगा। यह नियम ग्राहकों की शिकायतों को समय पर हल करने में मदद करेगा।

आज के समय में अच्छा क्रेडिट स्कोर होना बेहद जरूरी है। यह न केवल आपको लोन प्राप्त करने में मदद करता है, बल्कि कम ब्याज दरों पर लोन दिलाने में भी सहायक होता है। बेहतर क्रेडिट स्कोर बनाए रखने के लिए यह जरूरी है कि आप समय पर अपने क्रेडिट कार्ड और अन्य बिलों का भुगतान करें और अपने वित्तीय लेन-देन में अनुशासन बनाए रखें।

नए नियमों से क्या होगा फायदा?

इन बदलावों से ग्राहकों को पारदर्शी सेवाएं मिलेंगी और वित्तीय संस्थानों पर निगरानी भी बढ़ेगी। क्रेडिट स्कोर की नियमित जानकारी मिलने से ग्राहक अपनी आर्थिक स्थिति का बेहतर विश्लेषण कर सकेंगे। इसके अलावा, डिफॉल्टर घोषित करने और शिकायत निपटारे की नई व्यवस्था से ग्राहकों का विश्वास भी बढ़ेगा।

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