ब्रेकिंग
तीन हजार रूपये के लिए परिचित ने की हत्या! सोते समय सर पर पत्थर मारा हुई मौत आरोपी को किया गिरफ्तार ... भारत ने पाकिस्तान द्वारा प्रतिबंधित आतंकवादियो के अंतिम संस्कार में राजकीय सम्मान देने पर कड़ी आपत्त... डीजीएमओ ऑपरेशन सिंदूर पर की प्रेस कॉन्फ्रेंस: भारतीय सेना की जवाबी कार्रवाई में पाकिस्तानी सेना के 3... Aaj ka rashifal: आज दिनांक 12 मई 2025 का राशिफल, जानिए आज क्या कहते है। आपके भाग्य के सितारे। हरदा: महिला सशक्त वाहिनी कक्षा की छात्रों के बीच क्रिकेट मैच संपन्न Harda newa: विद्युत आपूर्ति व्यवस्था के लिये अधिकारियों को दायित्व सौंपे Today harda: सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक पोस्ट करने पर होगी दण्डात्मक कार्यवाही: नागरिक सुरक्षा संहिता ... मध्यप्रदेश बिग न्यूज: रविवार को प्रदेश के 30 जिलों में बारिश और आंधी का अलर्ट!  Aaj ka rashifal: आज दिनांक 11 मई 2025 का राशिफल, जानिए आज क्या कहते है आपके भाग्य के सितारे IPL 2025 Suspended: भारत-पाक टकराव के बीच BCCI ने लिया बड़ा फैसला, जानिए कब से शुरू होंगे बचे मुकाबल...

मनावर : चैत्र शुक्ल पक्ष की श्रीरामनवमी श्रीबालीपुरधा मे श्री योगेश जी महाराज के सान्निध्य में मनाई गई।

संस्कृत वेद विद्यापीठ से 101 बटुक ब्राह्मणों द्वारा पाठ एवं हवन किया गया। महर्षि वाल्मीकि जी ने नारद जी की देखरेख में इतनी साधना की कि जिह्वा से नही,बल्कि नाभी और त्वचा से भी राम-राम शब्द निकलने लगा।

मनावर, पवन प्रजापत : हमारा सौभाग्य है कि श्रीबालीपुरधाम में चैत्र शुक्ल पक्ष की श्रीराम नवमी पर सहस्त्रचंडी यज्ञ में शामिल होकर प्रभु श्रीराम के गुणो का बखान किया। सरयू तट के अयोध्या नगरी में सूर्य भगवान स्वयम अपनी किरणो के माध्यम से रामलला के मस्तक पर तिलक लगाकर शोभायमान कर रहे हैं ।वैसे ही श्री श्री 1008श्री गजानन जी महाराज अंबिका आश्रम श्रीबालीपुरधाम में सूर्य की किरणों के माध्यम से हवन मे वे अपनी उपस्थिति दे रहे हैं । परम गुरुदेव ने जो लक्ष्य बनाकर कार्य किया ,आज उनकी दशो दिशा में नाम प्रचलित है। रोम-रोम में उनका नाम शोभायमान है।
विगत 86 वर्षों की कठिनतम तपस्या के बाद प्रसाद मिला। वह आज भी भक्तो के हृदय में विराजमान है ।उन्हीं के पद चिन्हो पर चलते हुए श्री योगेश जी महाराज एवम सुधाकर जी महाराज धार्मिक कार्यों को परिपूर्ण कर रहे हैं ।उन्होने आगे बताया कि भक्तों के दिल में जब बाबा जी की बातें, मंत्र, देवी पाठ बताते हैं तो भक्त खुश हो जाते हैं ।भक्त घर संसार भूलकर बाबाजी के हो जाते हैं।। श्री रामनवमी पर श्री योगेश जी महाराज ने संध्या, पूजन-अर्चन कर दैनिक हवन किया ।आचार्य बंटी महाराज,अरूण भार्गव, पंकज पाण्डे ने वेदोक्त मंत्रोच्चार से देवीपाठ करवाकर सभी ब्राह्मणों को हवन में आहुति दिलवाई ।श्रीदुर्गासप्तशती के एकम अध्याय से 13 अध्याय तक पाठों के मंत्र करवाये। नवार्ण मंत्र,तंत्रोक्तम देविसुक्तम , श्रीदुर्गाअस्ठोतरस्तोत्र , श्रीसिद्धकुंजिका स्तोत्र करवाकर भरकोले का भोग लगाया। 151 कन्याओं का कन्या पूजन कर फल,ड्रेस, प्रसादी दी गई। सतगुरु सेवा समिति राजू देवड़ा ने बताया कि श्रीसुक्तम स्रोत से श्रीफल घी में डुबोकर हवन मे श्री महाराज जी एवम ब्राह्मणो द्वारा आहूति दी गई। कण्ववेद विद्यापीठ ,अंबिका संस्कृत पाठशाला एवम संस्कृत वेद विद्यापीठ उज्जैन के बटुक ब्राह्मणों द्वारा श्रीदुर्गासप्तशती के पाठ किए गए। सौन्दर्य लहरी के प्रथम श्लोक में ही भगवान विष्णु ने बताया कि मां दुर्गा का रौद्र रूप हो जाने से भगवान शंकर को उनके कदमों के नीचे आना पडा। तब माताजी सरल,शान्त स्वभाव की हुई । महर्षि वाल्मीकिजी ने नारद जी की देखरेख में जिह्वा से नहीं बल्कि नाभी और त्वचा के रोम रोम से “राम “शब्द निकलने लगा ।भक्तो ने यज्ञ की परिक्रमा की।मां अंबे, बाबाजी की आरती की गई। श्रीरामचंद्र कृपालु भजुमन हरण भव भय दारूणम की स्तुति कहींगई। दोपहर 12:00 बजे से भंडारा प्रारंभ हुआ जो देर रात तक चला। जितेन्द्र जोशी,रमेश अगलचा,राधेश्याम भूत, राजू परमार, निलेश देवड़ा, सुभाष ,नरेंद्र, , नवनीत ,मनोहर सोनी,विश्वनाथ दसोरे का सहयोग रहा ।

______________

- Install Android App -

यह भी पढ़े –

अपडेट खबरों के लिए हमारे whatsapp चैनल को फ़ॉलो करें –